अमेरिका, ईरान में तनाव से भारतीय बासमती का निर्यात प्रभावित

 

संकट बरकरार रहा तो चावल उद्योग को हो सकता है नुकसान

जयपुर, 9 जनवरी। अमेरिका व ईरान के बीच तनाव बढ़ने से भारतीय बासमती चावल के निर्यात पर संकट के बादल छाने लगे हैं। लिहाजा निर्यातकों में चिंता व्याप्त होने लगी है। निर्यातकों को पिछले साल अमेरिका द्वारा ईरान पर प्रतिबंध लगाए जाने के बाद से ही अनिश्चतता का सामना करना पड़ रहा है। ज्ञात हो भारतीय बासमती चावल का सबसे बड़ा खरीदार ईरान है। स्थानीय सूरजपोल मंडी स्थित जगदीश नारायण रतनलाल सिंघल एंड संस के मनोज सिंघल ने बताया कि पिछले साल के मुकाबले वर्तमान में बासमती चावल सस्ता बिक रहा है। बासमती 1121 सेला वर्तमान में 5400 से 5800 रुपए प्रति क्विंटल बेचा जा रहा है, जबकि गत वर्ष के इसके भाव 6000 से 6400 रुपए प्रति क्विंटल थे। बासमती में मंदी का मुख्य कारण ईरान से भुगतान संकट के चलते पैसा नहीं आना है। भारत सरकार द्वारा तेल के बदले चावल देने की पॉलिसी बनाने के बावजूद भुगतान संकट हल नहीं हुआ है।

यही कारण है कि अमेरिका व ईरान के बीच तनाव के कारण पिछले चार-पांच दिन से भारतीय बासमती का बाजार खामोश है। फिलहाल पूछपरख भी नहीं है। सिंघल ने कहा कि ठंडे मौसम में चावल की घरेलू मांग भी कमजोर चल रही है। इधर चावल मिलों ने 70 फीसदी धान का स्टॉक कर लिया है। ईरान संकट बरकरार रहा तो चावल उद्योग को भारी नुकसान उठाना पड़ सकता है। इस बीच हरियाणा व पंजाब की मंडियों में धान की आवक लगभग समाप्त हो गई है। दिल्ली की नरेला मंडी, राजस्थान की बूंदी, हनुमानगढ़ तथा मध्य प्रदेश की कुछ उत्पादक मंडियों में धान की दैनिक आवक अभी चालू है। बासमती 1121 धान का भाव मंडियों में 2600 से 2800 रुपए प्रति क्विंटल चल रहा है। जयपुर मंडी में गोल्डन सेला बासमती थोक में 6400 से 7000 रुपए प्रति क्विंटल बिकने के समाचार हैं। थोक बाजार भाव इस प्रकार रहे:-

आटा (50 किलो) नमस्कार 1400,सारथी 1371 रुपए जीएसटी पेड। बेसन(50 किलो) सारथी 2900 रुपए। अरावली 1475 रुपए प्रति 25 किलो। लहर एगमार्क मसाले- हल्दी 160, मिर्च190, धनिया 160 रुपए प्रति किलो। मधुबाला अजवायन 190, मधुबाला पोस्तदाना 1175, मधुबाला लौंग 590,पोहा लाल गणेश 44, मधुबाला 43 रुपए प्रति किलो।