दड़ा गेहूं 1825 रुपए प्रति क्विंटल बिका, मंदी के आसार नहीं

जयपुर, 1 फरवरी। गेहूं की कीमतों में एकबार फिर गिरावट का रुख देखा जा रहा है। जयपुर मंडी में मिल डिलीवरी दड़ा गेहूं सोमवार को 1825 रुपए प्रति क्विंटल पर दबा हुआ था। हालांकि गेहूं में और मंदी के आसार नहीं हैं। आटा, मैदा एवं सूजी में उपभोक्ता मांग कमजोर होने से भी गेहूं में नरमी को बल मिल रहा है। कोरोनाकाल में सरकार की मुफ्त अनाज योजना के चलते बिजाई के समय गेहूं की कीमतें नीची बनी हुई थी। परिणामस्वरूप किसानों ने गेहूं की बिजाई कम की थी। मित्तल दलिया के निर्माता मुकुल मित्तल ने कहा कि सरसों उत्पादक राज्यों में किसानों ने गेहूं के मुकाबले सरसों की बिजाई अधिक की थी। इसी प्रकार मसूर की बिजाई भी इस बार अधिक हुई है। उधर उत्तर प्रदेश, बिहार एवं मध्य प्रदेश में सब्जियों की खेती पर किसानों का रुझान अधिक रहा है। कच्ची मंडियों में गेहूं का स्टॉक लगभग निपट चुका है। इसे देखते हुए गेहूं की कीमतों में वर्तमान भावों से घटने की संभावना नहीं है। पिछले साल देश में गेहूं का रिकार्ड उत्पादन 1071 लाख टन के करीब हुआ था। इस बार भी मौसम अनुकूल रहा तो इसके आसपास ही गेहूं की पैदावार होने की संभावना है।